जूस के फायदे | विभिन्न बीमारियों में लाभदायक जूस | Juice Cure List

Spread the love! Please share!!

आम धारणा है कि बीमार होने पर जूस पीना चाहिए। लेकिन किस बीमारी में कौनसा जूस लाभदायक होगा क्या आप जानते है,शायद नहीं|

ताजा फलों के रस में विटामिन और अन्य खनिज पदार्थ होते हैं, जो शरीर के लिए लाभदायक हैं, पर इसका सबसे नकारात्मक पहलू है कि आप  इस पर पूरी तरह निर्भर नहीं हो सकते।
इसमें सभी तरह की विटामिन होने के बावजूद रेशे की मात्रा न के बराबर होती है। फलों के रस में फ्रूट एसिड की मात्रा बहुत होने की वजह से दांत बहुत जल्दी प्रभावित होने लगते हैं, इसीलिए आहार विशेषज्ञ मानते हैं कि जिनके दांत नहीं होते, जैसे बूढ़े व बच्चे फलों के रस पर आश्रित हो सकते हैं। लेकिन वे डिब्बाबंद फलों के रस का अधिक सेवन न करें, क्योंकि इनमें विभिन्न तरह के प्रिजर्वेटिव होते हैं, जो आंतों और पाचन क्रिया के लिए फायदेमंद नहीं हैं।

विभिन्न बीमारियों में लाभदायक जूस

1. भूख लगाने के हेतुः

प्रातःकाल खाली पेट नींबू का पानी पियें। खाने से पहले अदरक को कद्दूकस करके सैंधा नमक के साथ लें।

2. रक्तशुद्धि हेतु:

नींबू, गाजर, गोभी, चुकन्दर, पालक, सेव, तुलसी, नीम और बेल के पत्तों का रस प्रयोग करें।

3. दमाः

लहसुन, अदरक, तुलसी, चुकन्दर, गोभी, गाजर, मीठी द्राक्ष का रस, भाजी का सूप अथवा मूँग का सूप और बकरी का शुद्ध दूध लाभदायक है। घी, तेल, मक्खन वर्जित है।

4 उच्च रक्तचापः

गाजर, अंगूर, मोसम्मी और ज्वारों का रस। मानसिक तथा शारीरिक आराम आवश्यक है।

5. निम्न रक्तचाप:

मीठे फलों का रस लें, किन्तु खट्टे फलों का उपयोग ना करें। अंगूर और मोसम्मी का रस अथवा दूध भी लाभदायक है।

6. पीलिया:

अंगूर, सेव, रसभरी, मोसम्मी, अंगूर की अनुपलब्धि पर लाल मुनक्के तथा किसमिस का पानी।

गन्ने को चूसकर उसका रस पियें। केले में 1.5 ग्राम चूना लगाकर कुछ समय रखकर फिर खायें।

7. मुहाँसों के दाग:

गाजर, तरबूज, प्याज, तुलसी, घृतकुमारी और पालक का रस।

8. संधिवात:

लहसुन, अदरक, गाजर, पालक, ककड़ी, गोभी, हरा धनिया, नारियल का पानी तथा सेव और गेहूँ के ज्वारे।

9. एसीडिटी:

गाजर, पालक, ककड़ी, तुलसी का रस, फलों का रस अधिक लें। अँगूर मौसम्मी तथा दूध भी लाभदायक है।

10. कैंसर:

गेहूँ के ज्वारे, गाजर और अंगूर का रस।

11. सुन्दर बनने के लिए:

सुबह-दोपहर नारियल का पानी या बबूल का रस लें। नारियल के पानी से चेहरा साफ करें।

12. फोड़े-फुन्सियाँ:

गाजर, पालक, ककड़ी, गोभी और नारियल का रस।

13. कोलाइटिस:

गाजर, पालक और अन्नानास का रस। 70 प्रतिशत गाजर के रस के साथ अन्य रस समप्राण। चुकन्दर, नारियल, ककड़ी, गोभी के रस का मिश्रण भी उपयोगी है।

14. अल्सर:

अंगूर, गाजर, गोभी का रस, केवल दुग्धाहार पर रहना आवश्यक है, खूब गर्म दूध में 2 चम्मच देशी गाय का घी डालकर मिलाकर करके पियें।

15. सर्दी-कफ:

मूली, अदरक, लहसुन, तुलसी, गाजर का रस, मूँग अथवा भाजी का सूप।

16. ब्रोन्काइटिस:

पपीता, गाजर, अदरक, तुलसी, अनन्नास का रस, मूँग का सूप। स्टार्चवाली खुराक वर्जित।

17. दाँत निकलते बच्चे के लिए:

अन्नानास का रस थोड़ा नींबू डालकर रोज चार औंस (100-125 ग्राम)।

18. रक्तवृद्धि के लिए:

मौसम्मी, अंगूर, पालक, टमाटर, चुकन्दर, सेव, रसभरी का रस रात को। रात को भिगोया हुआ खजूर का पानी सुबह में। इलायची के साथ केले भी उपयोगी हैं।

19. स्त्रियों को मासिक धर्म कष्ट:

अंगूर, अन्नानास तथा रसभरी का रस।

20. आँखों के तेज के लिए:

गाजर का रस तथा हरे धनिया का रस श्रेष्ठ है।

21. अनिद्रा:

अंगूर और सेव का रस। पीपरामूल शहद के साथ।

22. वजन बढ़ाने के लिए:

पालक, गाजर, चुकन्दर, नारियल और गोभी के रस का मिश्रण, दूध, दही, सूखा मेवा, अंगूर और सेवों का रस।

23. डायबिटीज:

गोभी, गाजर, नारियल, करेला और पालक का रस।

24. पथरी:

पत्तों वाली सब्जी,  पालक, टमाटर ना लें। ककड़ी का रस श्रेष्ठ है। सेव अथवा गाजर या कद्दू का रस भी सहायक है। जौ एवं सहजने का सूप भी लाभदायक है।

25. सिरदर्द:

ककड़ी, चुकन्दर, गाजर, गोभी और नारियल के रस का मिश्रण।

26. किडनी का दर्द:

गाजर, पालक, ककड़ी, अदरक और नारियल का रस।

27. फ्लू:

अदरक, तुलसी, गाजर का रस।

28 वजन घटाने के लिए:

अन्नानास, गोभी, तरबूज,लौकी और नींबू का रस।

29. पायरिया:

गेहूँ के ज्वारे, गाजर, नारियल, ककड़ी, पालक और सोया की भाजी का रस। कच्चा अधिक खायें।

30. बवासीर:

मूली का रस, अदरक का रस घी डालकर, नागर मोथा, नारियल पानी।

 


Spread the love! Please share!!
Shivesh Pratap

Hello, My name is Shivesh Pratap. I am an Author, IIM Calcutta Alumnus, Management Consultant & Literature Enthusiast. The aim of my website ShiveshPratap.com is to spread the positivity among people by the good ideas, motivational thoughts, Sanskrit shlokas. Hope you love to visit this website!

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is the copyright of Shivesh Pratap.