क्या है भारत का नीति आयोग ?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 अगस्त, 2014 को लालकिले से अपने संबोधन के दौरान योजना आयोग को समाप्त कर, उसकी जगह एक नयी संस्था नीति आयोग (niti aayog)स्थापित करने की घोषणा की थी। 1 जनवरी, 2015 को भारत सरकार ने योजना आयोग के स्थान पर NATIONAL INSTITUTE FOR TRANSFORMING INDIA (NITI) या नीति आयोग के गठन की घोषाणा की। योजना आयोग की तरह नीति आयोग का गठन भी केंद्रीय मंत्रीमंडल के निर्णय से हुआ है। आइये जानते है नीति आयोग के तथ्य ….
नीति आयोग प्रत्येक स्तर पर सरकार के थिंक टैंक के रूप में सेवाएं प्रदान करेगा और उसे निर्देशात्मक एवं नीतिगत गतिशीलता प्रदान करेगा।
- मुख्यालय नई दिल्ली है|
- अध्यक्ष प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी है|
- गवर्निंग काउंसिल सभी मुख्यमंत्री, केंद्र शासित प्रदेशों के उपराज्यपाल
- विशेष आमंत्रित सदस्य विशेषज्ञ, पीएम इन्हें नामित करेंगे
- उपाध्यक्ष प्रधानमंत्री नियुक्त करेंगे
- पूर्णकालिक सदस्य (अधिकतम 5)
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अंशकालिक सदस्य अधिकतम दो पदेन सदस्य, विश्वविद्यालयों व संस्थानों से बारी के आधार पर होंगे।
- पदेन सदस्य अधिकतम चार केंद्रीय मंत्री
- सीईओ केंद्र के सचिव स्तर का अधिकारी, निश्चित कार्यकाल के लिए प्रधानमंत्री नियुक्त करेंगे
- नए नीति आयोग में तीन विभाग होंगे। पहला इंटर-स्टेट काउंसिल की तर्ज पर होगा।
- दूसरा लंबे समय की योजना बनाने और उसकी निगरानी का काम करेगा।
- तीसरा डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर व यूआइडीएआइ को मिलाकर बनेगा।
- सशक्त राज्य से सशक्त राष्ट्र- इस मंत्र से सहकारी संघवाद को बढ़ाना।
- ग्राम स्तर पर योजनाएं बनाने को तंत्र विकसित करना।
- राष्ट्रीय सुरक्षा के हितों और आर्थिक नीति में तालमेल बिठाना।
- आर्थिक प्रगति से वंचित रहे वगोर् पर विशेष ध्यान देना।
- रणनीतिक और दीर्घावधि के लिए नीति तथा कार्यक्रम का ढांचा बनाना|
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नीति आयोग राज्यों के साथ सतत आधार पर संरचनात्मक सहयोग की पहल और तंत्र के माध्यम से सहयोगपूर्ण संघवाद को बढ़ावा देगा।